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BSKE-150 2023-24 SOLVED ASSIGNMENT

29.00

BSKE-150
2023-24
SOLVED ASSIGNMENT

Description


Disclaimer/Special Note: These are just the sample of the Answers/Solutions to some of the Questions given in the Assignments. These Sample Answers/Solutions are prepared by Private Teacher/Tutors/Authors Meenakshi Sharma for the help and guidance of the student to get an idea of how he/she can answer the Questions given the Assignments. We do not claim 100% accuracy of these sample answers as these are based on the knowledge and capability of Private Teacher/Tutor Meenakshi Sharma. Sample answers may be seen as the Guide/Help for the reference to prepare the answers of the Questions given in the assignment. As these solutions and answers are prepared by the private Teacher/Tutor so the chances of error or mistake cannot be denied. Any Omission or Error is highly regretted though every care has been taken while preparing these Sample Answers/ Solutions. Please consult your own Teacher/Tutor before you prepare a Particular Answer and for up-to-date and exact information, data and solution. Student should must read and refer the official study material provided by the university.
निम्नलिखित में से किन्ही तीन का उत्तर लिखें।
2.भाषा और बोली में अंतर स्पष्ट करते हुए भाषा और वाक्य में अंतर बताएं।
ANS:
भाषा और बोली दोनों ही सांस्कृतिक साझा बातचीत के रूप में कार्य करने वाले अभिव्यक्ति के माध्यम का रूप हैं, लेकिन इनमें कुछ महत्वपूर्ण अंतर होते हैं।
भाषा:
भाषा एक ढांचे को दर्शाती है जिसमें व्यक्ति या समूह अपने विचारों, भावनाओं, और ज्ञान को साझा करते हैं। भाषा का अध्ययन विशेष रूप से शब्द, वाक्य, और वाचक की भाषाई क्षमताओं पर केंद्रित होता है। इसमें विशेष शैलियों, व्याकरण, और भाषाई संरचना का मूख्य ध्यान होता है। भाषा एक सांकेतिक प्रणाली है जो अर्थ और संवेदना को सुनिश्चित करने के लिए शब्दों का सही समृद्धिकरण करती है।
भाषा विचारों को अभिव्यक्त करने का माध्यम होती है और इसमें लिखित और उच्चारित रूप से व्यक्त किया जा सकता है। यह व्यक्ति के विचारों की गहराईयों तक पहुँचने का एक माध्यम होती है जो सोचने की क्षमता और भाषाई नौकरी की सार्थकता के साथ जुड़ी होती है। भाषा में विभिन्न स्तरों की सामर्थ्य होती है, जो शिक्षित और अशिक्षित व्यक्तियों के बीच सामाजिक संवेदना और सहयोग का संबंध बनाए रखती है।
बोली:
बोली एक व्यक्ति या समूह की व्यक्तिगतता, सांस्कृतिक समर्थन, और सामाजिक संबंध को दर्शाती है। इसमें उच्चारण, शैली, त्वरा, और अभिव्यक्ति के भाषाई परिचय की भूमिका होती है। बोली में शब्दों का उच्चारण और वाक्य की रचना व्यक्ति के स्थान, समय, और सामाजिक संदर्भ के आधार पर बदल सकती है।
बोली अक्सर साकारात्मक रूप में होती है और इसमें भाषाई संरचना की कमी के कारण सार्थकता की कमी हो सकती है। हाथ में मुख में बोली गुणधर्म को बढ़ा सकती है लेकिन यह भाषा की रूपरेखा की कमी के कारण उच्च स्तर की अभिव्यक्ति की कठिनाएं डाल सकती है। बोली आमतौर पर सामाजिक संवाद का माध्यम होती है और व्यक्तिगत और सामाजिक सांविदानिकता को बढ़ावा देने में मदद करती है।
अंत में, भाषा और बोली दोनों ही मानव संवाद के लिए आवश्यक हैं। भाषा विचारों को साझा करने का एक उपाय है, जबकि बोली संवाद को व्यक्तिगत और सामाजिक स्तर पर समर्थन प्रदान करती है। इन दोनों के सही उपयोग से ही समृद्धि और समृद्धि का माहौल बनता है जो समृद्धि, समर्थन, और सामाजिक समर्थन की दिशा में निरंतर विकसित हो सकता है।
भाषा और वाक्य दोनों ही भाषा के विभिन्न पहलुओं को दर्शाते हैं, लेकिन इनमें कुछ महत्वपूर्ण अंतर हैं:
भाषा:
परिभाषा: भाषा एक सांकेतिक और संरचित ढांचा है जिसका उपयोग विचारों, भावनाओं, और ज्ञान को साझा करने के लिए किया जाता है।
कार्यक्षमता: भाषा शब्दों, वाक्यों, और भाषाई निरूपण का मूख्यांश है जो व्यक्ति को विचारों को संकल्पित करने में मदद करता है।
आदान-प्रदान: भाषा लिखित और उच्चारित रूपों में हो सकती है और यह अक्सर विचारों को सुनिश्चित करने के लिए स्वाभाविक रूप से साधना होती है।
वाक्य:
परिभाषा: वाक्य एक समूह शब्दों का है जो एक पूर्ण और सार्थक अभिव्यक्ति प्रदान करता है।
कार्यक्षमता: वाक्य भाषा का अभिव्यक्तिकरण होता है जो एक विचार या जानकारी को सांविदानिक और सार्थक रूप में प्रस्तुत करता है।

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